Dalit Chintan by Shri Ashok Pradhan

बाबा साहब जैसे महान् व्यक्तित्व ने समाज में एक जागरण पैदा किया। लोगों को झकझोरा। उनकी अंतरचेतना में व्यवस्था को बदलने का हौसला दिया। उनके प्रयास से ही देश से अस्पृश्यता समाप्त हुई।
—अटल बिहारी वाजपेयी
पूर्व प्रधानमंत्री
बाबा साहब डॉ. भीमराव अंबेडकर के आदर्श का मूल तत्त्व है शांति और सामाजिक भाईचारा। उन्होंने जीवनभर गरीबों को राष्ट्र की मुख्यधारा से जोड़ने का काम किया।
—नरेंद्र मोदी
भारत के प्रधानमंत्री
बाबा साहब ने जीवन भर देश की एकता और अखंडता के साथ दलित, शोषित और उत्पीडि़त वर्ग के कल्याण के लिए समाज में जागृति की अलख जगाकर समरसता का भाव स्थापित करने का प्रयास किया।
—अमित शाह
भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष
‘बहुजन हिताय, बहुजन सुखाय’ ये मूल तत्त्व हैं। मैं समझता हूँ आर्थिक दृष्टि से किसी भी सरकार के लिए इस दायरे के बाहर जाने का कोई कारण ही नहीं बनता है। आज हम रिजर्व बैंक की कल्पना करते हैं। देश आजाद नहीं हुआ था, तब बाबा साहब अंबेडकर ने अपने thesis में भारत में रिजर्व बैंक की कल्पना की थी। आज हम federal sector की बात करते हैं, फाइनेंस कमीशन राज्य की माँग रहती है, इतना पैसा कौन देगा, इतना पैसा कौन देगा, कौन राज्य कैसे क्रम में चलेगा। देश आजाद होने से पहले बाबा साहब अंबेडकर ने यह विचार रखा था फाइनेंस कमीशन का और संपत्ति का बँटवारा केंद्र और राज्य के बीच कैसे हो—इसका गहराई से उन्होंने चिंतन किया था और उन्हीं विचारों के प्रकाश में आज यह फाइनेंस कमीशन, चाहे RBI हो, ऐसे अनेक institutions हैं।
—नरेंद्र मोदी
इस पुस्तक में संकलित माननीय प्रधानमंत्री के भाषण का अंश।

Publication Language

Hindi

Publication Type

eBooks

Publication License Type

Premium

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