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Mullah Nasruddin Stories by Nirupama
दमिश्क का बाजार पीछे रह गया था। रात के नौ बजे का समय था। मुल्ला नसरुद्दीन अपने वफादार गधे के साथ शहर के उस स्थान पर जा पहुँचा, जहाँ शहर के अमीर का महल था। महल के आगे लॉन था। गधे को बहुत जोर से भूख लगी थी। हरियाली देखकर उससे रुका न गया और महल की दीवार फाँदकर अंदर घुस गया और मुल्ला नसरुद्दीन दूर जाकर गिरा। नसरुद्दीन उसे गाली देते हुए बड़बड़ाने लगा। लेकिन उस पर कोई असर नहीं हुआ।
Publication Language |
Hindi |
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Publication Type |
eBooks |
Publication License Type |
Premium |
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SKU:
9789380183091.pdf
Categories: Books, Hindi Books, Premium Hindi Books, Provisional Premium Books
Tag: Hindi Literature
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